दोस्तों आज हम सीखेंगे quality of God | परमेश्वर बदलता नहीं यह परमेश्वर का सबसे बेहतरीन गुण हैं जिसके कारण मानव जीवन में आशीषें हैं तो आइये शुरू करते हैं.
परमेश्वर बदलता नहीं | Unchanging God
क्योंकि मैं यहोवा बदलता नहीं; इसी कारण, हे याकूब की सन्तान तुम नाश नहीं हुए (मलाकी 3:6)
हमारे परमेश्वर की QUALITY है कि वह बदलता नहीं. वो कल आज और युगानुयुग एक सा है. याकूब अर्थात इस्राएल जो परमेश्वर की चुनी हुई प्रजा है, उसके नाश न होने का कारण यही है कि परमेश्वर बदलता नहीं है.
उसने जो वायदा हमारे बाप दादा से किया है वो उस वायदों को पूरा कर रहा है. तो आइये जानते हैं परमेश्वर किन बातों में बदलता नहीं है.
परमेश्वर पवित्रता में बदलता नहीं
एक बार परमेश्वर ने यशायाह भविष्यवक्ता को एक दर्शन दिखाया जब उज्जिय्याह राजा मर गया (मतलब देश का घमंडी राजा जब समाप्त हो गया)
तब यशायाह ने दर्शन में देखा कि परमेश्वर ऊंचे सिंहासन पर विराजमान है और उसके महिमामय वस्त्र के घेर से मन्दिर भर गया है.
और छ: छ: पंखो वाले साराप स्वर्गदूत ऊंचे पर उड़ रहे हैं और वे दो पंखों से अपने पैरों को ढांपे है और दो पंखों से अपने मुंह को और दो पंखों से उड़कर एक दूसरे की ओर देखकर कह रहे हैं सेनाओं का यहोवा पवित्र पवित्र पवित्र है.
स्वर्गदूत पापी नहीं हैं तोभी वे अपने मुंह को छिपाए हुए हैं और पैरों को भी. अर्थात वे जानते हैं हमारा परमेश्वर अति पवित्र है. (यशायाह 6:1)
राजा दाउद कहने लगा, आओ पवित्रता में सोभायमान होकर यहोवा की दंडवत करें. (भजन 96)
परमेश्वर का प्रेम बदलता नहीं
परमेश्वर को हमारी जरूरत नहीं है लेकिन वो हमें दिल से चाहता है. यही परमेश्वर के न बदलने वाले प्रेम की खूबी है.
रिक वारेन
उसने हमसे इतना प्रेम किया कि अपना एकलौता पुत्र भी हमारे खातिर दे दिया. वो हमें और क्या कुछ क्यों नहीं देगा. परमेश्वर के दास चार्ल्स स्पर्जन ने कहा था,
एक समय आएगा जब हम हम सभी को मरना पड़ेगा, लेकिन उस समय भी हमें डरने की जरूरत नहीं हैं क्योंकि मृत्यु भी हमें अपने परमेश्वर के प्रेम से अलग नहीं कर सकती. (रोमियो 8:38)
परमेश्वर का वचन बदलता नहीं
परमेश्वर के न बदलने वाले वचन ही हमें साहस और प्रोत्साहन देते हैं कि हम उन पर दृढ़ता से विश्वास करें और उसमें जड़ पकड़ते जाएं.
समय के साथ साथ मोबाईल और किताबें और कम्प्यूटर और सभी गेजेट बदलते रहते हैं लेकिन हमारे जीवन की तमाम समस्याओं का समाधान बताने वाले परमेश्वर का वचन आरम्भ से आज तक कभी नहीं बदला और न ही बदलेगा क्योंकि वो सिद्ध है PERFECT है.
यशायाह कहता है, घास तो सूख जाती, और फूल मुर्झा जाता है; परन्तु हमारे परमेश्वर का वचन हमेशा हमेशा तक कभी नहीं टलेगा वो सदा तक अटल रहेगा. (यशायाह 40:8)
परमेश्वर अपनी प्रतिज्ञा में बदलता नहीं
चाहे धरती या आकाश टल जाए या बदल जाए लेकिन परमेश्वर अपनी प्रतिज्ञाओं में कभी नहीं बदलता. उसकी प्रतिज्ञा सारी की सारी हाँ और आमेन में पूरी होती हैं.
उसने जो प्रतिज्ञा अब्राहम से की थी वो पूरी किया उसने इस्राएल से जो प्रतिज्ञा की थी वह पूरी किया उसने कहा, दाउद का सिंहासन कभी नहीं टलेगा और वो अपने प्रतिज्ञा में आज भी अटल है.
चाहे हमें लगता है कि देर हो रही है लेकिन वो आपको दी हुई प्रतिज्ञा को भी अवश्य पूरा करेगा.
परमेश्वर न्याय में बदलता नहीं
परमेश्वर न्यायी है पुराने नियम में एक बार परमेश्वर ने दो स्वर्गदूतों को इस धरती पर भेजा कि जाकर देखा जाए सदोम गमोरा में क्या हो रहा है.
क्योंकि वहां व्यभिचार और घिनौने काम का पाप इतना बढ़ गया था कि परमेश्वर ने कहा कि उस देश को आग और गंधक से नाश कर देना.
हालाकि अब्राहम ने प्रार्थना की यदि वहां 10 प्रार्थना करने वाले धर्मी लोग पाए जाए तो उन्हें नाश न करना. स्वर्गदूतों ने ढूंढा लेकिन 10 धर्मी को भी उस देश में नहीं पाया इसलिए वह देश पूरी रीति से नाश हो गया.
परमेश्वर अपने न्याय में बदलता नहीं लेकिन जब कोई प्रार्थना करता है और दया की मांग करता है तो परमेश्वर उस पर दया भी करता है.
अभी दया और अनुग्रह का समय है. आइये बहुतों को नरक में जाने से रोकें और स्वर्ग को भरें.
आपके उद्धार के तरीके में परमेश्वर बदलता नहीं
आदि काल से परमेश्वर अपने उद्धार के तरीके में बदला नहीं है इसी कारण निर्दोष मेमने के लहू के द्वारा सभी मानव जाति को उद्धार मिला है.
एक बार की बात है परमेश्वर के दास पौलुस और सिलास बंदीगृह में बंद थे उनके हाथों में हथकड़ी और पैरों में बेड़ियाँ थी लेकिन वे तब भी आराधना कर रहे थे.
तभी एक बड़ा भूकंप हुआ और सारा का सारा बंदीगृह टूट गया सभी के हथकड़ी और बेड़ियाँ खुल गईं रात के अँधेरे में वहां का सूबेदार आया
उसे लगा सभी कैदी भाग गए होंगे अब राजा मुझे सजा देगा इसलिए वह स्वयं को मार कर आत्महत्या करना चाह रहा था लेकिन तभी संत पौलुस ने आवाज लगाईं.
अपने आप की हानि न कर हम यहीं हैं. इस पर उस सूबेदार ने उनके चरणों में गिरकर पुकारा और कहा, हे सज्जनों मैं उद्धार पाने के लिए क्या करूँ.
पौलुस ने जवाब दिया तू यीशु मसीह पर विश्वास कर तो तू और तेरा घराना उध्दार पाएगा. प्रिय पाठकों आज भी वह जवाब बदला नहीं है.
आकाश के नीचे और धरती पर केवल एक ही नाम दिया गया (यीशु मसीह) जिसके द्वारा हमारी पापों की क्षमा और उद्धार है. प्रभु आप सभी को आशीष दे.
विश्वास करते हैं यह लेख कि परमेश्वर बदलता नहीं है पढ़कर आशीष प्राप्त हुई होगी कृपया कमेन्ट करके अवश्य बताएं आप हमारे हिंदी बाइबिल स्टडी app को गूगल प्ले स्टोर से डाउन लोड आप इस लिंक से उस लेख को पढ़ सकते हैं.. हमारे इन्स्ताग्राम को भी फोलो कर सकते हैं…
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प्रभु यीशु मसीह के नाम से आपको बहुत बहुत धन्यवाद
बहुत अच्छे संदेश के लिए जो आप हमे नई नई जानकारियां देते है
प्रभु यीशु मसीह आपको बहुतायत से आशीष दे
बहुत बहुत धन्यवाद भाई भगत जी आपको संदेश अच्छा लगा प्रभु की महिमा हो